छिंदवाड़ा के इस गांव में नहीं हुआ मतदान : गांव के बेटे को टिकट नहीं मिलने पर ग्रामीणों ने किया बहिष्कार, भाजपा ने कहा- यह कांग्रेस की विदाई का संकेत है
छिंदवाड़ा के शहपुरा गांव में एक भी वोट नहीं डला। यहां ग्रामीणों गांव के बेटे नीरज ठाकुर को कांग्रेस से टिकट नहीं मिलने के कारण मतदान का बहिष्कार किया।
एसीएन टाइम्स @ भोपाल । मतदाताओं की किसी भी चेतवानी को हल्के में नहीं लेना चाहिए, यह बात छिंदवाड़ा (Chhindwara) के शाहपुरा (Shahpura) गांव के मतदाताओं ने साबित भी कर दिया। इस गांव के एक भी मतदाता ने वोट नहीं डाला। भाजपा (BJP) ने इसे कांग्रेस (CONGRESS) की विदाई का संकेत बताया है, क्योंकि ग्रामीणों ने गांव के बेटे को कांग्रेस का टिकट नहीं मिलने पर मतदान के बहिष्कार का ऐलान किया था।
मध्य प्रदेश के प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के छिंदवाड़ा जिले के शाहपुरा गांव में मतदाताओं की संख्या 1064 है। 17 नवंबर को हुए मतदान में इस गांव के एक भी मतदाता ने मतदान नहीं किया। दरअसल, ग्रामीणों ने गांव के बेटे नीरज ठाकुर उर्फ बंटी पटेल को चौरई विधानसभा कांग्रेस से टिकट दिए जाने की मांग की थी। चेतावनी दी थी कि अगर नीरज ठाकुर को टिकट नहीं दिया गया तो वे मतदान नहीं करेंगे। ठाकुर को टिकट नहीं मिला तो उन्होंने अपनी चेतावनी को सही साबित कर दिखाया। नतीजतन निर्वाचन आयोग, प्रशासन और राजनीतिक दलों द्वारा अधिक से अधिक मतदान के सारे प्रयास धरे रह गए। दिनभर माननव्वल के बाद भी जब किसी ने मतदान नहीं किया तो निराश मतदान दल शाम 6 बजे लौट आया। यह उसी छिंदवाड़ा जिले का गांव है जहां 85.5 प्रतिशत मतदान हुआ।
गांव के निवासी बलदेव वर्मा और कुबेर सिंह चौधरी ने मीडिया को बताया कि ग्रामीणों ने चुनाव का बहिष्कार इसलिए किया क्योंकि गांव के बेटे को टिकट नहीं दिया गया। बता दें कि, शाहपुरा के नीरज ठाकुर उर्फ बंटी पटेल ने कांग्रेस से टिकट नहीं मिलने पर चौरई विधानसभा से निर्दलीय चुनाव लड़ने की ठान ली थी। इसी से नाराज ग्रामीणों ने मतदान नहीं करने का निर्णय लिया ता और गांव के बेटे को टिकट नहीं तो मतदान नहीं का नारा भी दिया था।
इस बूथ पर कभी नहीं मिला भाजपा को वोट
भाजपा ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। केंद्रीय खाद्य प्रसंस्करण उद्योग एवं जलशक्ति राज्य मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल (Prahlad Singh Patel) ने ग्रामीणों की इस बगावत को कमलनाथ और कांग्रेस की विदाई का संकेत बताया। उन्होंने कहा है कि- ‘ये संकेत है, पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के दिग्गज कमलनाथ की मध्य प्रदेश से उल्टी गिनती शुरू हो गई है। शहपुरा गांव के लोगों ने बगावत का आगाज कर दिया है। इस बूथ से भाजपा को कभी वोट नहीं मिले, इसका अर्थ है कि कांग्रेस को जनता ने सिरे से नकार दिया है।
3 दिसंबर को कांग्रेस और कमलनाथ की विदाई पर लगेगी मुहर
केंद्रीय पटेल का कहना है कि- ‘मैंने पूरे चुनाव में यही कहा है कि छिंदवाड़ा जिले की सभी सातों सीटें कांग्रेस बुरी तरह से हार रही है और जनता ने भाजपा को चुनने का मन बना लिया है। मैंने जब यह कहा था तब मुझे नहीं पता था कि शहपुरा गांव के लोगों के दिल में क्या है? जनता जान चुकी है कि कमलनाथ जनहित के लिए नहीं बल्कि अपने परिवार को बढ़ाने के लिए चुनाव मैदान में हैं। इससे साफ है कि 3 दिसंबर को कांग्रेस और कमलनाथ की विदाई पर मुहर लग जाएगी।’